Jeb Me Jannat

· Booksclinic Publishing
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52 reviews
Ebook
270
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About this ebook

सम-सामयिक साहित्यिक उपन्यास 'जेब में जन्नत' ग्रामीण पृष्ठभूमि पर आधारित फैज़ाबाद जिले के काशीपुर की जादुई कहानी है। गांव के एक जमींदार खानदान के दो महारथी अजय विक्रम सिंह और कासिम शेर खान के वर्चस्व की जबरदस्त लड़ाई उपन्यास का आधार है। प्रस्तुत उपन्यास में सामुदायिक सहयोग, परस्पर समन्वय, ग्रामीण लोक परम्परा और रीति रिवाज की देशी सुगंध है, रामेश्वर और बहाउद्दीन की दुनियादारी सांझी अनुभूति है, हैदर शेर खान 'लड्डन' और लोकेश विक्रम सिंह के आपसी अदावत का कसैला स्वाद एवं कच्चा लड़कपन और बदलाव का तूफान है, आचार्य माधव मणि और विनोद जी का वैचारिक मतभेद दो ध्रुव है, बाबा हबीब और हरिनाथ शास्त्री का सामूहिक हितों के प्रति पूर्ण समर्पण है, शिवराज, भुलई , डॉ मनोज और मदन जैसे परोपकारी चन्दन वृक्ष है, मिताली, मौसमी, अनीता, अरूंधति, सुलोचना और ऊषा की हंसी शरारत है, संतोष मणि, मियां शरीफ़ और भानू में लोमड़ी की तरह कमीनापन है, साथ ही मासूम विश्वजीत और चंचल आयशा की हृदयस्पर्शी आध्यात्मिक प्रेम है। इस तरह समाज और जीवन के इन्द्र धनुष के सातों रंगों का मिलन है--- 'जेब में जन्नत'


Ratings and reviews

5.0
52 reviews
Neeraj Yadav
October 8, 2022
Nice Book ✴️✴️✴️✴️✴️जेब मे जन्नत ❣️🚩 किताबें ज़िन्दगी का वो अस्त्र हैं जो बिना किसी को घाव दिए, हमे जीत हासिल करने मे सहायता करते है...
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satyam yadav
September 17, 2022
👉जेब मे जन्नत 👈 एक बार जरूर पढ़े यह बहोत अच्छी किताब है मेरे ख्याल से इस किताब का पढ़ना आपके के लिए बेकार नही जायेगा इसमें हमारे बारे में ही बताया गया है हमारे राष्ट्र, भाईचारा, एकता, और सबसे बड़ी बात हमारे उपर आने वाले संकट को कवि ने बताया है और इस संकट से बाहर कैसे निकला जाये को भी बताया है इस किताब का उद्देश पैसे कमाने का नही है बल्कि हमारे देश में हो रहे अपराध भृष्टाचार हमारे बीच खत्म हो रही हमारी एकता के बारे में कवि ने बताया है मैं ऐसे खुले आम नहीँ बताऊगा की कवि ने किस संकट के बारे में बताया है मैं विश्वास दिलाता हूं जिसने भी ये किताब पढ़ा वो समझ जायेगा कि कवि क्या कहना चाहता है अगर इसमें राजनीति के बारे में नही है हमारे और हमारे परिवार के उपर आने वाले संकट के बारे में है यह घटना जहाँ की है उसका पुरा नक्शा भी इसमें है अगर आपको अपने परिवार अपने देश से प्यार है तो एक बार पूरी किताब जरूर पढ़ियेगा यह कोई love story वाली किताब नही है ना ही इसमें कोई हीरो है बस यही पर मै अपनी आवाज को विराम देता हु अगर अपने धर्म और हिंदुत्व को बचाना चाहते हो तो इस किताब को जरूर पड़ियेगा धन्यवाद 🙏
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S.Prakash Yadav
September 12, 2022
A great story telling past, describing present and forcasting future. Really it is something super nice without missing seen,heard and told.
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About the author

संक्षिप्त परिचय-उपन्यासकार सत्य प्रकाश यादव का जन्म उत्तर प्रदेश के अयोध्या जनपद में मिल्कीपुर तहसील स्थित कलुवामऊ गांव में मार्च,1979 को हुआ। प्रारंभिक शिक्षा पैतृक गांव से प्राप्त कर माध्यमिक शिक्षा सन् 1995 में प्रतिष्ठित सर्वोदय इण्टर कॉलेज,रामगंज अयोध्या में पूर्ण की। तत्पश्चात सन् 1998 में स्नातक, सन् 2000 में शिक्षा स्नातक, सन् 2002 में साकेत महाविद्यालय, अयोध्या से विधि-स्नातक की उपाधि प्राप्त की। अत्यधिक अभिरूचि के कारण सन् 2004 में अंग्रेजी साहित्य से परास्नातक किया जहां जी.बी.शॉ,थामस हार्डी, चार्ल्स डिकेंस आदि की श्रेष्ठ रचनाओं को पढ़ा।मन के साहित्य में रम जाने पर मुंशी प्रेमचंद, फणीश्वरनाथ रेणु,केशव प्रसाद मिश्र (नदिया के पार), कालिदास, बाण, फिराक गोरखपुरी की कृतियों से परिचित हुए। सम्प्रति महात्मा बुद्ध,लियो टॉलस्टाय,कार्ल मार्क्स, महात्मा गांधी, बहाविज्म, सूफीज्म, पेरियार, डॉ आंबेडकर, डॉ राम मनोहर लोहिया, भगतसिंह, कुरान मजीद, हदीस, श्रीमद्भागवत गीता, उपनिषद, भारतीय, पाश्चात्य, आर्य,अरब, बौद्ध दर्शन, श्री रामचरित मानस, सत्यार्थ प्रकाश, गुरु ग्रंथ साहिब, बाइबल आदि अमूल्य मानसरोवरों में रमण के साथ ही साथ विधि परामर्श का काम-काज प्रगति पर है।


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